कांगड़ा के प्राइवेट हॉस्पिटल में नवजात की मौत: सरकारी डॉक्टर पर लापरवाही बरतने के आरोप, FIR दर्ज

हिमाचल प्रदेश के जिला कांगड़ा के एक निजी हॉस्पिटल में डिलीवरी के दौरान शिशु की मौत होने का मामला सामने आया है। परिजन निजी हॉस्पिटल में कार्यरत सरकारी डॉक्टर पर लापरवाही बरतने का आरोप लगा रहे हैं। शिशु की मौत और डॉक्टर द्वारा धोखाधड़ी करने की शिकायत परिजनों ने कांगड़ा पुलिस स्टेशन में दर्ज करवाई है। निजी हॉस्पिटल के MD पीडियाट्रिक डॉक्टर ने भी माना कि ऑपरेशन इमरजेंसी में डॉक्टर क्रांति ने किया था।

धर्मशाला के मनेड गांव के रहने वाले नितिन सरोच ने पुलिस को दी शिकायत में बताया कि निजी हॉस्पिटल के डॉक्टर प्रदीप मक्क्ड़ की देखरेख में उनकी पत्नी दीक्षा का इलाज चल रहा था, लेकिन डिलीवरी डॉक्टर प्रदीप मक्क्ड़ ने नहीं, बल्कि सरकारी हॉस्पिटल थुरल में कार्यरत डॉक्टर क्रांति बिष्ट ने करवाई, जिनकी लापरवाही के चलते उन्होंने अपने बच्चे को खो दिया। मामले में पुलिस से हर एंगल से केस की जांच करने की मांग की गई है।

एक दिन पहले चैकिंग में बच्चा ठीक बताया

नितिन सरोच ने बताया कि उनकी पत्नी दीक्षा 9 महीने की गर्भवती थी, जिसका शुरू से ही ट्रीटमेंट सिटी हॉस्पिटल कांगड़ा में डॉक्टर प्रदीप मक्क्ड़ की देखरेख में चल रहा था। 22 मार्च को दीक्षा को सिटी हॉस्पिटल में एडमिट करवाया। हॉस्पिटल में उपस्थित डॉक्टर क्रांति बिष्ट ने चैक करने के बाद कहा कि जच्चा और बच्चा दोनों ठीक हैं, कल तक डिलीवरी हो जाएगी। 23 मार्च की सुबह दीक्षा को ऑपरेशन थियेटर में ले जाया गया, जहां उसका ऑपरेशन किया गया।

नितिन ने बताया कि करीब एक घंटे बाद मुझसे कहा गया कि शिशु की हालत ठीक नहीं है। शिशु को वेंटिलेटर पर रखा गया है, लेकिन दोपहर को उसकी डेथ हो गई, जिसकी जानकारी मुझे डॉक्टर सुगंथा कुमार ने दी। डॉक्टर प्रदीप मक्क्ड़ हॉस्पिटल में नहीं थे। इसलिए मेरी पत्नी दीक्षा का ऑपरेशन डॉक्टर क्रांति बिष्ट ने किया, जो सरकारी हॉस्पिटल पालमपुर उपमंडल के थुरल में कार्यरत हैं। इन्हीं डॉक्टर की गलती की वजह से शिशु की जान गई।

अचानक हुए कार्डियक अरेस्ट से हुई शिशु की मौत


वहीं सिटी हॉस्पिटल कांगड़ा के MD पीडियाट्रिक डॉक्टर टी. सुगंथा कुमार ने बताया कि दीक्षा ने 23 मार्च की सुबह 7.13 मिनट पर लड़के को जन्म दिया, जिसे सांस लेने में कठिनाई हो रही थी। उसे तत्काल मैकेनिकल वेंटिलेशन पर रखा गया। दोपहर 12.20 बजे शिशु को अचानक कार्डियक अरेस्ट हुआ। प्रोटोकॉल को फॉलो किया गया, लेकिन 12.50 पर शिशु को मृत घोषित किया गया। दीक्षा का ऑपरेशन इमरजेंसी में डॉक्टर क्रांति ने किया था। CMO कांगड़ा डॉक्टर सुशील शर्मा ने कहा कि उनके पास अभी तक शिकायत नहीं आई है। शिकायत मिलने पर ही कानून कार्रवाई की जाएगी।

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